जल सत्याग्रह का 17वां दिन: जल सत्याग्रहियों की जिंदगी दांव पर!!11!!
जल सत्याग्रह आंदोलन के समर्थन में आसपास के 250 गांवों के करीब 5000 लोग घोघल गांव में ही जम गए हैं. कुल 51 पुरुष और महिलाएं जल सत्याग्रह कर रहे हैं और बाकी लोग उनका हौसला बढ़ा रहे हैं.जमीन से उखड़े लोग कितने असहाय है और प्रशासन कितना मदमस्त. इसका यह एक उदहारण है.?आम जनता के जीने मरने के सवालों के प्रति सारी सरकारें बहरी हैं अंधीं हैं..गूंगी हैं. पिछले 16 दिनों से अपने हक के लिए जल सत्याग्रह कर रहे लोगों के शरीर में गलन शुरू हो गई है, मछलिया उनके शरीर पर हमला करने लगी हैं और अब तो उनकी जिंदगी ही दाव पर लगती नजर आने लगी है। हालाकि शनिवार को मप्र सरकार ने दो मंत्रियों को भेजकर प्रभावितों से 48 घंटे का वक्त मांगा था। प्रभावितों द्वारा शासन के निर्णय का इंतजार किया जा रहा है। नर्मदा बचाओ आंदोलन ने कहा है कि सोमवार से 50 और लोग जल सत्याग्रह के लिए पानी में उतरेंगे। पेश है जल सत्याग्रह आंदोलन पर आलोक अग्रवाल की यह रिपोर्ट:
कल उर्जा मंत्रालय का दल आएगा