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राज्यवार रिपोर्टें
छत्तीसगढ़ पेसा नियम 2022 : संवैधानिक प्रावधानों पर नासमझी या शातिराना छल !
-बिजय पांडा
छत्तीसगढ़ पेसा नियम, 2022 पर चर्चा करने से पहले जरुरी है कि हम एक बार पेसा कानून के सैद्धांतिक परिक्षेत्र को समझ लें, ताकि छत्तीसगढ़ पेसा नियमों का केंदीय पेसा कानून की रोशनी में विश्लेषण कर पाये।
‘पेसा’ कानून का सैद्धांतिक परिक्षेत्र
‘पेसा’ कानून, “पंचायत कानून (भाग 9) का विस्तार होते हुए भी पंचायत कानून से बहुतांश भिन्नता रखता है…
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झारखण्ड : नेतरहाट फील्ड फायरिंग रेंज विरोधी संघर्ष के ऐतिहासिक सबक
सेना के गोला-बारूद की मारक क्षमता की जांच के लिए झारखंड के नेतरहाट में की जाने वाली चांदमारी करीब छह दशक बाद आखिर…
मध्य प्रदेश : पेसा नियमों को लेकर 26 साल बाद भी आदिवासियों के सामने असमंजस की…
मध्य प्रदेश सरकार राज्य पेसा नियम बनाने को लेकर कितनी गंभीर है, इसका पता 27 अगस्त 2022 के दैनिक भास्कर में छपी खबर…
कोयले से बिजली, बिजली से राखड़ और राखड़ से तबाही
-दीपमाला पटेल और ध्वनि शाह
हमारे यहां बिजली के लिए कोयले का सर्वाधिक उपयोग किया जाता है, लेकिन उससे पैदा होने वाली राख पर्यावरण, पानी, खेती और हवा तक को खतरे में डालती है। पिछले महीने महाराष्ट्र के नागपुर में राखड के तालाब टूटने के दो हादसे हुए हैं। प्रस्तुत है, उन दुर्घटनाओं के प्रभावों पर आधारित दीपमाला पटेल और ध्वनि शाह की यह रिपोर्ट;
पिछले…
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पूंजी की प्रभुता में लोकतंत्र की हैसियत
दुनियाभर की भांति-भांति की शासन-प्रणालियों को देखें तो उनमें सर्वश्रेष्ठ लोकतंत्र ही दिखाई देता है, लेकिन पूंजी के…
गोम्पाड नरसंहार मामले पर उच्चतम न्यायालय का यह फैसला नैसर्गिक न्याय के सिद्धांत को उलट कर रख देता है : छत्तीसगढ़ बचाओ आंदोलन
14 जुलाई 2022 को सर्वोच्च न्यायालय ने 2009 के एक मामले में हिमांशु कुमार और बारह अन्य लोगों द्वारा दायर एक रिट याचिका को खारिज कर दिया, जिसमें छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले (तत्कालीन दंतेवाड़ा) के गांवों में आदिवासियों की गैर-न्यायिक हत्याओं की स्वतंत्र जांच की मांग की गई थी। इस हादसे को गोम्पाड नरसंहार के रूप में जाना जाता है जिसमें सितंबर और अक्टूबर!-->…
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नर्मदा नव निर्माण अभियान पर फर्जी मुकदमा उनके ऐतिहासिक संघर्ष को बदनाम नहीं कर…
नर्मदा नव निर्माण अभियान पर फर्जी मुकदमे के खिलाफ जनसंघर्ष समन्वय समिति का वक्तव्य
मेधा पाटकर और नर्मदा नव निर्माण…
वन जमीन डायवर्जन नियम में संशोधन : कारपोरेट के सामने नतमस्तक सरकार
मोदी सरकार की “ईज़ ऑफ डूइंग बिज़नेस” नीति के तहत केंद्रीय वन, पर्यावरण एव जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा 28 जून…
झारखण्ड : स्वामित्व योजना के खिलाफ रांची में संघर्ष संकल्प गोष्ठी; 9 जुलाई 2022
संघर्ष संकल्प गोष्ठी
दिनांक: 9 जुलाई 2022
समय : 10 बजे से
स्थान : एचआरडीसी रांची, खजूर तालाब के पास।
निवेदक-आदिवासी अस्तित्व रक्षा मंच,
मुंडारी खूंटकटी परिषद।
संपर्क -दयामनी बरला-9431104386
तुरतन तोपनो-7091128043,
आइए मिल कर झारखंड को बचाए। आप सभी जानते हैं कि हमारे पूर्वजों ने सांप, भालू, बाघ, बिच्छू जैसे खुंखार जंगली जानवरों से लड़कर…
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