संघर्ष संवाद
Sangharsh Samvad

उड़ीसा : नियमगिरि में राज्य दमन लगातार जारी, 5 आदिवासियों की गिरफ्तारी

दमन की एक नई कार्रवाई में, ओडिशा पुलिस ने 24 जुलाई 2018 को नियमगिरि सुरक्षा समिति के पांच कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया। यह वेदांता और ओडिशा सरकार की खनन-विरोधी संघर्षों पर दमनकारी नीति की अगली कड़ी है. सूर्य शंकर दास की रिपोर्ट जिसका हिंदी अनुवाद अंकुर जयस्वाल ने किया है; नियमगिरी सुरक्षा समिति के कार्यकर्ताओं जीलू माझी, तुंगुरु माझी, रांगे…
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आदिवसियों को जंगलों से उजाड़े जाने का प्रतिरोध करें : देशव्यापी विरोध प्रदर्शन में 22 जुलाई 2019 को शामिल हों

13 फरवरी 2019 को आदिवासियों को उनके जंगलों से उजाड़े जाने के सर्वोच्च न्यायालय के फैसले पर भले ही सर्वोच्च न्यायालय ने खुद ही स्टे लगा दिया हो फिर भी वन विभाग अभी लोगों को उनकी जमीनों से उजाड़ रहा है। इस प्रक्रिया के दौरान कई स्थानों पर आदिवासियों के साथ हिंसक झड़पें भी हुई हैं। दिल्ली में 1 और 2 जुलाई, 2019 को आयोजित भूमि और वन अधिकार आंदोलनों के…
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झारखण्ड : कोल ब्लॉक के खिलाफ गोलबंद दुमका के आदिवासी, गांवों में गूंजते नारे ‘जान देंगे जमीन नहीं’

झारखंड में दुमका जिले के शिकारीपाड़ा इलाके के गांवों में प्रस्तावित कोल ब्लॉक के खिलाफ आदिवासियों की गोलबंद तेज है. पिछले पांच महीने से शिकारीपाड़ा इलाके के अलग-अलग गांवों में बैठकें हो रही हैं. विरोध- प्रदर्शन का दौर जारी है. और इस दौरान नारे गूंजते रहे हैं- जान देंगे, जमीन नहीं. इसी सिलसिले में 14 जुलाई 2019 को सरसडंगाल हटिया परिसर में…
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तमिलनाडु : कुडनकुलम परमाणु प्लांट के खिलाफ महिलाओं का संघर्ष

-श्वेता दागा 10 सितंबर 2012 को तमिलनाडु के चार गांवों के हजारों लोग तिरूनेलवेली जिले के इदिन्थाकरै गांव से लगे तटों पर कुडनकुलम परमाणु ऊर्जा संयंत्र (केएनपीपी) का विरोध करने एकत्रित हुए. यह संयंत्र इस गांव से मात्र दो किलोमीटर दूर बना है. उस दिन संयंत्र में यूरेनियम ईंधन (फ्यूल) भरा जा रहा था जो परमाणु संयंत्र के आरंभ होने से पहले किया जाता है.…
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